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Dengue increased in Gwalior: 8 साल की बच्ची की डेंगू से दिल्ली में उपचार के दौरान मौत, ग्वालियर बढ़ रहे आकड़े

Dengue increased in Gwalior: 8 साल की बच्ची की डेंगू से दिल्ली में उपचार के दौरान मौत, ग्वालियर बढ़ रहे आकड़े

ग्वालियर में डेंगू का प्रकोप दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। रविवार की रिपोर्ट में 22 मरीज डेंगू संक्रमित बताए गए जिसमें 11 ग्वालियर जिले के रहने वाले हैं। वहीं एक बच्ची की मौत भी हो गई लेकिन स्वास्थ्य विभाग अभी नहीं मान रहा, पुष्टि के लिए सैंपल भेजा है।

Publish Date:

Mon, 18 Sep 2023 02: 12 AM (IST)

Updated Date:

Mon, 18 Sep 2023 02: 12 AM (IST)

Dengue increased in Gwalior: 8 साल की बच्ची की डेंगू से दिल्ली में उपचार के दौरान मौत, ग्वालियर बढ़ रहे आकड़े

शहर में डेंगू का प्रकोप बढ़ रहा है डेंगू से लड़की मौत की पुष्टि नहीं

HighLights

  1. 8 साल की बच्ची की डेंगू से दिल्ली में उपचार के दौरान मौत
  2. स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही, निजी लैब की रिपोर्टिंग तक नहीं
  3. आंकड़ों में भी मिलावट, सही पुष्टि नहीं

ग्वालियर, नईदुनिया प्रतिनिधि। ग्वालियर में डेंगू से होने वाली मौत का पहला मामला सामने आया है। चेतकपुरी की रहने वाले शशांक भार्गव की 8 साल की बेटी भाविशा भार्गव की दिल्ली में गंगाराम हास्पिटल में उपचार के दौरान रविवार की रात को मौत हो गई। बच्ची का अंतिम संस्कार शहर में ही किया गया।

अस्पताल में जांच के लिए भेजा सैंपल, डेंगू से मौत की पुष्टि नहीं

भाविशा को बीते राेज मंगल नर्सिंग होम से दिल्ली के लिए रेफर किया गया था। फिर भी उसे बचाया नहीं जा सका।गजब की बात यह है कि बच्ची को डेंगू था जिसका उपचार ग्वालियर व दिल्ली के डाक्टरों ने किया। लेकिन स्वास्थ्य विभाग इस बात काे मानने के लिए राजी नहीं है कि बच्ची की मौत का कारण डेंगू है। इसलिए मलेरिया अधिकारी ने निजी लैब से बच्ची का सैंपल जिला अस्पताल में जांच के लिए भेजा है। जिसकी रिपोर्ट आने पर ही स्वास्थ्य विभाग डेंगू से मौत की पुष्टी करेगा।

शहर में बढ़ा डेंगू का प्रकोप

इधर शहर में डेंगू का प्रकोप दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। रविवार की रिपोर्ट में 22 मरीज डेंगू संक्रमित बताए गए जिसमें 11 ग्वालियर जिले के रहने वाले हैं बाकी दीगर जिले के हैं। यह रिपोर्ट सरकारी लैब की है जबकि शहर में निजी लैब में कितने संक्रमित मिले इसकी जानकारी खुद स्वास्थ्य विभाग के पास नहीं है। स्वास्थ्य विभाग की यह लापरवाही डेंगू के प्रकोप को बढ़ रही है। जिले में अब तक 300 से अधिक डेंगू संक्रमित मिल चुके हैं। इसलिए अब सावधान रहें और सतर्क रहे तथा छोटे बच्चों को डेंगू से बचा कर रखें।

15 दिन से आ रहा था बुखार

चेतकपुरी विवेक बिहार की रहने वाली भाविशा को पिछले एक सप्ताह से बुखार था। जिसका उपचार परिजनों द्वारा निजी डाक्टर से कराया, लेकिन जब बच्ची का स्वास्थ्य में सुधार नहीं दिखा तो उन्होंने रवि नगर में निजी नर्सिंग होम में गुरुवार की रात को भर्ती किया। जहां पर निजी लैब में जांच कराई तो डेंगू की पुष्टी हुई।

शनिवार को जब उपचार के दौरान भाविशा बेहोशी की हालत में आ गई तब सीबीसी की जांच कराई गई। जिसमें प्लेटलेट 20 हजार से कम बताई गई। जिसके बाद नर्सिंग होम प्रबंधन ने बच्ची की हालत नाजुक बताते हुए दिल्ली के लिए बीते रोज रेफर किया था जहां पर भर्ती होने के चंद घंटे बाद ही उसकी मौत हो गई थी। पर इन तीन दिन में निजी लैब द्वारा संक्रमित मरीज की जानकारी स्वास्थ्य विभाग को नहीं दी।

इन स्थानों के निकले संक्रमित

कैथवाली गली के रहने वाले 78 साल के बुजुर्ग, गुलाबपुरी के रहने वाली 35 साल की महिला, थाटीपुर का 35 साल का युवक, गिजौर्रा का 58 साल का व्यक्ति ,हजीरा की 10 साल का बालक , गुड़ागुड़ी का नाका का 27 साल का युवक,45 साल की सुरैया पुरा की महिला, सात साल का बच्चा और 30 साल का ग्वालियर का रहने वाला युवक संक्रमित मिला है। इसके अलावा दतिया,शिवपुरी,भिंड,मुरैना,अंबा,यूपी आदि स्थानों के मरीज संक्रमित मिले हैं।

बुजुर्ग और बच्चों का रखें ख्याल

शहर में डेंगू का प्रकोप बढ़ रहा है। डेंगू का मच्छर छोटे बच्चों और बुजुर्गों को अपना आसान शिकार बनाता है। क्योंकि इनकी त्वचा मुलायम होती है इसलिए मच्छर आसानी से बाइट कर लेता है। इसलिए इन्हें पुरे आस्तीन के कपड़े पहनाकर रखें। डेंगू की रोकथाम के लिए घर व उसके आसपास साफ पानी जमा न होने दें। यदि बुखार आए तो तत्काल डेंगू,मलेरिया की जांच कराएं तथा विशेषज्ञ डाक्टर को दिखाएं।

डेंगू की जांच कराने के साथ ही स्वजन ने बच्ची को भर्ती किया था। 15 सितंबर को जब जांच रिपोर्ट मिली तब उसका उपचार डेंगू का शुरू किया गया। बच्ची सेप्टीसीमिया की शिकार थी। प्लेटलेट गिर रहे थे और ब्लड प्रेशर लो था जिसके चलते उसे समय रहते दिल्ली के लिए रैफर किया गया था।वहां पर भी उपचार चला पर सबकुछ डाक्टर के हाथ नहीं होता।

डा दीपक अग्रवाल, मंगल नर्सिंग होम